1 सितंबर 2022 से यूनिक डिसेबिलिटी पहचान पत्र यानी यूडीआईडी कार्ड के माध्यम से दिव्यांगजनों को मिलेगा केंद्र व प्रदेश सरकार की योजनाओं का लाभ

January 31, 2022

1 सितंबर 2022 से यूनिक डिसेबिलिटी पहचान पत्र यानी यूडीआईडी कार्ड के माध्यम से दिव्यांगजनों को मिलेगा केंद्र व प्रदेश सरकार की योजनाओं का लाभ

उपायुक्त ने दिव्यांगजनों से जल्द से जल्द अपना दिव्यांगता प्रमाण पत्र तथा यूडीआईडी कार्ड बनवाने की अपील की
स्वास्थ्य विभाग द्वारा चलाया जाएगा विशेष अभियान

हिसार, 31 जनवरी  रवि पथ :

दिव्यांगजनों को केंद्र व प्रदेश सरकार की विभिन्न योजनाओं का लाभ 1 सितंबर 2022 से यूनिक डिसेबिलिटी पहचान पत्र यानी यूडीआईडी कार्ड के माध्यम से दिया जाएगा, ताकि उन्हें योजनाओं और सेवाओं का लाभ सरकारी दफ्तरों के चक्कर काटे बिना बाधा के मिल सके। इस दिशा में भारत सरकार द्वारा दिव्यांगजनों को दिए जाने वाले विभिन्न लाभ को 31 अगस्त 2022 तक यूडीआईडी कार्ड से जोड़े जाने की तिथि निर्धारित की गई है।
उपायुक्त डॉ प्रियंका सोनी ने यह जानकारी देते हुए स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे दिव्यांगजनों के दिव्यांगता प्रमाण पत्र जारी करने के साथ-साथ उनके यूडीआईडी कार्ड बनाने की दिशा में भी जरूरी कार्यवाही करें। उन्होंने दिव्यांगजनों से भी यह अपील की है कि वे 31 अगस्त तक अपना यूडीआईडी कार्ड अवश्य बनवा लें, क्योंकि इसके बिना विभिन्न योजनाओं व सेवाओं का लाभ उन्हें नहीं मिल पाएगा।
उपायुक्त ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा दिनांक 5 अगस्त 2021 को जारी अधिसूचना में 21 प्रकार की दिव्यांगता के लिए प्रमाण पत्र जारी किए जाने का प्रावधान किया गया है, जबकि दिव्यांगता एक्ट 2016 में केवल 7 श्रेणियों के लिए यह प्रमाण पत्र जारी किया जाता था। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे 5 अगस्त 2021 को जारी अधिसूचना के अनुरूप सभी 21 प्रकार की दिव्यांगता के लिए प्रमाण पत्र जारी करें। इस कार्य में कोई कोताही या लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
उपायुक्त ने निर्देश दिए हैं कि दिव्यांगजनों द्वारा स्वावलंबन कार्ड डॉट जीओवी डॉट आईएन पोर्टल पर किए गए आवेदनों पर तुरंत कार्यवाही की जानी चाहिए और इसमें बेवजह देरी ना की जाए। स्वास्थ्य व अन्य संबंधित विभाग दिव्यांगजनों के प्रमाण पत्र तथा यूडीआईडी कार्ड बनवाने के लिए ठोस कार्य योजना तैयार करें, क्योंकि अभी भी बड़ी संख्या मेंं ऐसे दिव्यांगजन हैं, जिनके दिव्यांगता प्रमाण पत्र तथा यूडीआईडी कार्ड नहीं बने हैं। इस कार्य में आशा वर्कर, आंगनबाड़ी वर्कर, ग्राम सचिव, जिला परिषद तथा गैर-सरकारी संस्थाओं का सहयोग लेकर एक विशेष अभियान भी चलाया जाए।