यूपी का वान्टेड अपराधी चढ़ा एसटीएफ हरियाणा के हत्थे

January 1, 2023

यूपी का वान्टेड अपराधी चढ़ा एसटीएफ हरियाणा के हत्थे

एसटीएफ बहादुरगढ़ यूनिट ने दबोचा 10 हजार रुपये का ईनामी मुजरिम

करीब 8 साल से यूपी पुलिस से छिपता फिर रहा था दिनेश बब्बर

आरोपी के खिलाफ साईबर ठगी के मामले दर्ज

सस्ती दरों पर लोगों को पर्सनल लोन दिलवाने के विज्ञापन छपवाकर करता था ठग

बहादुरगढ़, 1 जनवरी 2023 रवि पथ  :

हरियाणा पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स ने उत्तर प्रदेश के एक ऐसे वांटेड अपराधी को काबू करने में कामयाबी हासिल की है जो सस्ती ब्याज दरों पर बैंक लोन के विज्ञापन देकर लोगों के साथ साईबर फ्रॉड करता था। दबोचे गए आरोपी का नाम दिनेश बब्बर पुत्र युधिष्ठिर है जिसे करनाल इलाके से काबू करने के बाद उत्तर प्रदेश पुलिस के हवाले कर दिया गया है।
एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि पुलिस अधीक्षक श्री सुमित कुमार IPS एवं उप पुलिस अधीक्षक श्री सुरेंद्र कुमार HPS के कुशल मार्गदर्शन में कार्य करते हुए एसटीएफ बहादुरगढ़ इंचार्ज विवेक मलिक की टीम ने यह कामयाबी हासिल की है।
प्रवक्ता के अनुसार दिनेश करीब 8 साल से उत्तर प्रदेश पुलिस की आंखों में धूल झोंक रहा था और वह अपनी गिरफ्तारी से बचा हुआ था, जिसे कई साल पहले ही वांटेड घोषित करके 10 हजार रुपये का इनाम भी घोषित किया जा चुका था।
प्रवक्ता के मुताबिक वर्ष 2014 में आरोपी ने अपने गिरोह के सदस्य के साथ मिलकर साहिबाबाद के रहने वाले संतराम दुबे पुत्र सत्यदेव के साथ साइबर ठगी करते हुए करीब 1 लाख 35 हजार रुपये ठग लिए थे। इस घटना के संदर्भ में संतराम दुबे ने गाजियाबाद पुलिस अधीक्षक को शिकायत देकर बताया था कि उसने एक अखबार में विज्ञापन देखकर मोबाइल नंबरों पर संपर्क किया था जिसके बाद उसे एक ईमेल आई और उसको बताया गया कि आपका 15 लाख रुपए का लोन मंजूर हो गया है। इसके बाद उसने दिए गए नंबरों पर संपर्क किया तो दूसरी तरफ से हरीश और कृष्ण नाम के दो व्यक्तियों के साथ उसकी बातचीत हुई जिन्हें कानूनी सलाहकार बताया गया था। उन लोगों ने उसे कहा कि आपको लोन की रकम आपके खाते में जमा की जाएगी लेकिन उससे पहले कुछ औपचारिकता निभाते हुए कुछ पैसे बताए गए खातों में जमा करवाने होंगे। आरोपियों में संतराम को बातों में उलझा कर उससे कई बार करके कुल 1 लाख 35 हजार रुपये दो अलग-अलग बैंक खातों में जमा करवा लिए लेकिन काफी इंतजार के बाद भी संतराम को जब लोन के 15 लाख रुपए नहीं मिले तो उसे संदेह हुआ और उसने दोबारा से उन नंबरों पर बातचीत की तो उसे अपने साथ हुई ठगी का अहसास हुआ और उसने साहिबाबाद पुलिस को शिकायत दी।
उत्तर प्रदेश पुलिस ने मामले की जांच के दौरान पाया कि जिन बैंक खातों में धोखाधड़ी करके रुपए जमा करवाए गए हैं वे पानीपत के एक बैंक में फर्जी कागजात तैयार करवाकर नकली नाम पत्रों पर खोले गए हैं। बावजूद इसके उत्तर प्रदेश पुलिस आरोपियों को गिरफ्तार नहीं कर पाई और उनको ईनामी मुजरिम घोषित कर दिया गया।
सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि बहादुरगढ़ एसटीएफ के इंस्पेक्टर विवेक मलिक को एक गुप्त सूचना मिली जिसके आधार पर जांच को आगे बढ़ाते हुए एसटीएफ बहादुरगढ़ के खास टीम ने तेजी से कार्रवाई की और करनाल क्षेत्र से दिनेश बब्बर पुत्र युधिष्ठिर को दबोच लिया गया जिसने प्रारंभिक पूछताछ में अपने गुनाह कबूल करते हुए बताया है कि साहिबाबाद वाली घटना को उसने अपने साथी कृष्ण कुमार पुत्र वेदभूषण वासी पानीपत के साथ मिलकर अंजाम दिया था। एसटीएफ बहादुरगढ़ ने यूपी पुलिस से संपर्क कायम करके उनके आरोपी के हरियाणा पकड़े जाने की सूचना दी जिसके बाद उत्तर प्रदेश से एक स्पेशल टीम हरियाणा आई और गिरफ्तार आरोपी को यूपी पुलिस के हवाले कर दिया गया। अब इस केस की आगामी छानबीन उत्तर प्रदेश के साहिबाबाद थाने की पुलिस करेगी।
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