पैरामिलिट्री जिला एसोसिएशन ने नक्सली हमले में शहीद हुए जवानों को दी श्रद्धांजलि

April 6, 2021

पैरामिलिट्री जिला एसोसिएशन ने नक्सली हमले में शहीद हुए जवानों को दी श्रद्धांजलि

निजामपुर, हरफुल सिंह  रवि पथ :

मंगलवार को पूर्व पैरामिलिट्री एसोसिएशन के जिला प्रधान शिवलाल गनन की अध्यक्षता में एक बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में छत्तीसगढ़ नक्सली हमले में शहीद हुए 23 जवानों को श्रद्धांजलि दी साथ ही भारी दुख प्रकट किया। इस अवसर पर पैरामिलिट्री एसोसिएशन के जिला प्रधान शिवलाल गनन ने कहा कि दुश्मन के साथ मुठभेड़ में शहीद होना गर्व की बात है। लेकिन इसके साथ दुख की बात है कि हमारी सरकार के द्वारा पैरामिलिट्री के जवानों को 2004 से पेंशन ही बंद कर दी गई। उन्होंनेें कहा कि देश मे जब जब चुनाव आते हैं पैरामिलिट्री के जवानों को बलि कर दिया जाता है।क्योंकि इन इलाकों में सभी पार्टियो का वोट बैंक है। आज सरकार पैरामिलिट्री के साथ बड़ा धोखा कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार के बयान देने से कुछ नहीं होता। गृहमंत्री ने कभी यह भी नहीं सोचा कि पैरामिलिट्री के जवानो को भी कोई सुविधा दी जाए। उन्होने कहा आज न तो पैरामिलिट्री के जवानो की पेंशन है। साथ ही मेडिकल की सुविधा व कैंटीन की सुविधा से भी ये लोग वंचित है। ओर न ही सरकार के द्वारा पैरामिलिट्री बोर्ड का गठन किया गया है। उन्होने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि एक एमएलए व एमपी चार चार पेंशन लेते हैं। लेकिन बड़े दुख की बात है कि देश के लिए शहीद होने वाले पैरामिलिट्री के जवानो के लिए यह सरकार कुछ नहीं सुनने को तैयार है।

उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि वो पिछले 3 साल से गृहमंत्री व प्रधानमंत्री जी से मिलने के लिए कई बार प्रयास किया लेकिन उनके पास इन पैरामिलिट्री सिपाहियों के लिए मिलने का समय तक नहीं है। इनको तो अपनी कुर्सी की पड़ी है। निहत्थे 2010 में हमारे 70 जवानों ने कुर्बानी दी थी। वही पुलवामा दन्तेवाड़ा में करीब 40 जवान शहीद हो चुके हैं। उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि यदि पैरामिलिट्री के जवानों के साथ सरकार यही बर्ताव करती रही तो आने वाले दिनों में पैरामिलिट्री के जवानों के द्वारा सरकार को मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा। इस अवसर पर पूर्व डीएसपी भानाराम, पूर्व डीएसपी मनीराम, इंस्पेक्टर गजानंद सरेली, घासीराम निजामपुर, एसआई छैलू राम नापला, राधेश्याम निजामपुर, बहादुर सिंह छीलरो, हेमराज घाटाशेर मेहर चंद गांवड़ी जाट, राम अवतार दनचौली, राजेंद्र, दिलबाग आदि कार्यकारिणी के सदस्य उपस्थित थे।