मतदान से एक घंटा पहले करवाया जाएगा मोक पोल : मान

March 23, 2019

 

मतदान से एक घंटा पहले करवाया जाएगा मोक पोल : मान
एआरओ व एडीसी एएस मान ने नलवा हलके के लिए नियुक्त किए गए सेक्टर ऑफिसर्स,
फ्लाइंग स्क्वेयड व अन्य स्पोर्टिंग स्टाफ को दिया चुनाव प्रक्रिया के संबंध में प्रशिक्षण
रवि पथ ब्यूरो हिसार, 23 मार्च ।
नलवा विधानसभा क्षेत्र के एआरओ एवं अतिरिक्त उपायुक्त अमरजीत सिंह मान ने कहा कि लोकसभा आम चुनाव-2019 के लिए 12 मई को होने वाले मतदान से एक घंटा पहले मोक पोल करवाया जाएगा जो कम से कम दो पोलिंग एजेंट की मौजूदगी में करवाया जाए। इसके माध्यम से ईवीएम मशीनों की निष्पक्षता व पारदर्शिता स्वत: सिद्ध हो जाती है।
एआरओ एएस मान आज पंचायत भवन सभागार में 53-नलवा हलका के लिए नियुक्त किए गए सेक्टर ऑफिसर्स, फ्लाइंग स्क्वेयड टीमों, सी विजिल टीमों, ईवीएम टे्रनरों, चुनाव सामग्री देने व लेने वाली टीमों के प्रशिक्षिण कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने चुनाव में किए जाने और न किए जाने वाले तमाम कार्यों की विस्तृत जानकारी देते हुए कर्मचारियों से आह्वान किया कि वे अपनी जिम्मेदारी को तत्परता व जिम्मेदारी से निभाएं। इस दौरान कर्मचारियों को ईवीएम-वीवीपैट मशीनों के संचालन की ट्रेनिंग तथा वीडियो फिल्म के माध्यम से ईवीएम मशीनों के रखरखाव व कार्यप्रणाली की जानकारी भी दी गई।
एडीसी एएस मान ने कहा कि लोकसभा आम चुनाव शांतिपूर्ण, निष्पक्ष व पारदर्शी हो, इसके लिए जरूरी है कि प्रत्येक अधिकारी-कर्मचारी सभी प्रत्याशियों को एक नजर से देखें और न तो किसी के प्रति भेदभाव करें और न ही किसी को प्राथमिकता दें। हमें चुनाव आयोग की गाइडलाइंस के अनुरूप चुनाव करवाने हैं। चुनाव में लगे हर व्यक्ति को हर बात की जानकारी व मशीनों के संचालन का ज्ञान होना जरूरी है ताकि वे जरूरत के समय पोलिंग पार्टियों की मदद कर सकें।
उन्होंने बताया कि पोलिंग के दिन मतदान से एक घंटा पूर्व कम से कम दो पोलिंग एजेंट्स की मौजूदगी में ईवीएम मशीनों का मोक पोल करवाया जाए। इसके तहत ईवीएम मशीन में प्रत्येक प्रत्याशी के बटन को कम से कम एक बार और प्रत्येक ईवीएम में कम से कम 50 वोट पोल करके यह सुनिश्चित किया जाए कि सभी प्रत्याशियों को समान रूप से वोट मिले हैं या नहीं। इससे मशीनों से छेड़छाड़ आदि की शंकाएं समाप्त हो जाती हैं। मोक पोल के बाद मशीनों को क्लीयर करके ही मतदान शुरू करवाया जाए।
उन्होंने कहा कि इस बार चुनाव में वीवीपैट मशीन का इस्तेमाल होगा। वोट डालने के बाद इस मशीन से एक पर्ची निकलेगी जो मतदाता को 7 सैकिंड के लिए दिखाई देगी जिसे देखकर वह यह तसल्ली कर सकेगा कि उसका वोट उसी प्रत्याशी को गया है जिसके लिए उसने बटन दबाया है। उन्होंने कहा कि वीवीपैट मशीन को सीधा धूप में न रखा जाए, इससे मशीन में खराबी आने की आशंका हो सकती है। यदि कमरे में धूप है तो इसके सामने थर्मोकोल सीट आदि लगाकर छाया का प्रबंध किया जाए।
एडीसी मान ने कहा कि मतदान करवाने वाले कर्मी बाहर होने वाली किसी भी घटना से प्रभावित हुए बिना मतदान को जारी रखें। मतदान पूरा होने के बाद मशीन को क्लोज किया जाए और सभी पोलिंग एजेंट्स को उस मतदान केंद्र पर डाले गए वोट की संख्या व मतदान के प्रतिशत से संबंधित सर्टिफिकेट भी दिया जाए ताकि बाद में मशीन से छेड़छाड़ न की जा सके।
उन्होंने बताया कि डयूटी पर तैनात उन कर्मचारियों को ईडीसी (इलेक्शन ड्यूटी सर्टिफिकेट) दिया जाएगा जिनका वोट हिसार लोकसभा क्षेत्र के किसी भी बूथ पर है। ईडीसी दिखाकर वे उस बूथ पर अपना वोट डाल सकेंगे जहां उनकी ड्यूटी लगी है। इसके अलावा जिन कर्मचारियों के वोट देश के किसी भी अन्य लोकसभा क्षेत्र में हैं उनके आरओ को पोस्टल बैलेट पेपर जारी करने के लिए इन कर्मियों की सूची भेजी जाएगी जिसके माध्यम से वे अपने पसंदीदा प्रत्याशी को वोट दे सकेंगे। एक जनवरी को फाइनल मतदाता सूची प्रकाशित हो चुकी है लेकिन फिर भी नामांकन से पहले तक बनने या कटने वाले वोटों की सूची एनेक्सचर के रूप में मतदाता सूची के साथ रखी जाएगी जिसके अनुसार मतदान करवाया जाएगा। मतदाता अपने पहचान पत्र सहित पहचान के 11 दस्तावेजों में से कोई भी दिखाकर अपना वोट डाल सकते हैं। राशन कार्ड दिखाकर वोट नहीं डाला जा सकेगा।
उन्होंने बताया कि कोई भी पोलिंग पार्टी अथवा कर्मचारी स्ट्रांग रूम से ईवीएम मशीन लेने के बाद इसे अपने बूथ के अलावा कहीं और न लेकर जाए। ऐसा करना मशीन के टेंपरिंग की कोशिश मानी जाएगी जिससे संबंधित कर्मी के खिलाफ एफआरआई दर्ज की जाएगी। उन्होंने बताया कि पोलिंग पार्टियों को देने के लिए मास्टर ट्रेनर ईवीएम मशीनें तैयार करेंगे जबकि अन्य टीमें किट बैग तैयार करेंगी जिनमें विभिन्न प्रकार के फार्म, सील, लिफाफे, स्याही व अन्य जरूरी वस्तुएं होंगी।
इसके पश्चात मास्टर ट्रेनरों ने सभी कर्मचारियों को ईवीएम व वीवीपैट मशीनों के संचालन व कार्यप्रणाली का प्रशिक्षण प्रदान किया। सभी कर्मचारियों से यह सर्टिफिकेट लिया गया कि उन्होंने ईवीएम मशीनों के संचालन की संपूर्ण जानकारी प्राप्त कर ली है। इस दौरान जिला परियोजना अधिकारी डॉ. राजकुमार नरवाल, योजना अधिकारी जगदीश दलाल, पीओ इंद्राज, एपीसी अनिल यादव, मास्टर ट्रेनर सुरेश पूनिया व बीडीपीओ जयपाल तंवर सहित अन्य विभागों के अधिकारी व टीमों के सदस्य भी मौजूद थे।