सी विजिल एप पर आने वाली शिकायत का 100 मिनट में समाधान करना अनिवार्य : उपायुक्त
उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने नोडल अधिकारियों, उडऩदस्ता टीमों व सेक्टर ऑफिसर्स को दिया प्रशिक्षण
रवि पथ ब्यूरो हिसार, 17 मार्च
जिला निर्वाचन अधिकारी एवं उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने बताया कि लोकसभा आम चुनाव-2019 में आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायतें करने के लिए निर्वाचन आयोग ने सी-विजिल एप लॉन्च किया है। किसी भी व्यक्ति द्वारा इस एप पर शिकायत करने के 100 मिनट के भीतर संबंधित उडऩदस्ता टीम द्वारा अपेक्षित कार्रवाई करके शिकायत का समाधान करना अनिवार्य है। इस अवधि के बाद यह शिकायत सीधे निर्वाचन आयोग को चली जाएगी जिसके लिए कड़ा संज्ञान लिया जा सकता है। उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने यह बात आज जिला सभागार में नोडल अधिकारियों, उडऩदस्ता टीमों व सेक्टर ऑफिसर्स के प्रशिक्षण कार्यशाला को संबोधित करते हुए कही।
उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने कहा कि कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल पर गूगल प्ले स्टोर से सी विजिल एप इंस्टॉल कर सकता है जिसके माध्यम से वह आचार संहिता उल्लंघन की फोटो व वीडियो रिकॉर्ड करके एप पर अपलोड कर सकता है। एप पर शिकायत आते ही इसे संबंधित नोडल अधिकारी व आरओ द्वारा उस क्षेत्र की उडऩदस्ता टीम के पास रेफर किया जाएगा। टीम द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए शिकायत अपलोड होने के 100 मिनट यानी 1 घंटा 40 मिनट के भीतर मौके पर जाकर अपेक्षित कार्रवाई करनी है और यदि वहां शराब अथवा पैसे बांटने जैसा कोई काम हो रहा है तो उसे जब्त करते हुए कानूनी कार्रवाई करनी है। दिन हो या रात, उडऩदस्ता टीम द्वारा, केवल 100 मिनट के भीतर ही शिकायत पर कार्रवाई करनी है।
उन्होंने कहा कि चुनाव से संबंधित महत्वपूर्ण कार्यों के लिए जिला में 37 नोडल ऑफिसर्स नियुक्त किए गए हैं। इनके लिए चुनाव आयोग द्वारा कार्य निर्धारित किए गए हैं। सभी अधिकारी चेक लिस्ट और अपने-अपने कार्यों से संबंधित दिशा-निर्देश प्राप्त कर लें और ईसीआई के निर्देशों की अनुपालना सुनिश्चित करवाएं। उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग की हर लाइन और हर कोमा का अक्षरश: पालन किया जाएगा।
उपायुक्त ने बताया कि चुनाव ड्यूटी पर तैनात प्रत्येक कर्मचारी को उसके मतदान का अधिकार प्रदान करना सुनिश्चित किया जाएगा। सभी अधिकारी अपने तहत कार्यरत कर्मचारियों का डाटा बेस तैयार करें कि उनके वोट किन विधानसभा क्षेत्रों में हैं। जिन कर्मचारियों के वोट हिसार लोकसभा क्षेत्र में हैं उन्हें इलेक्शन डयूटी सर्टिफिकेट जारी किए जाएंगे जिन्हें दिखाकर वे लोकसभा क्षेत्र में अपनी ड्यूटी वाले मतदान केंद्र पर ही अपना वोट डाल सकेंगे। इसके अलावा जिन कर्मियों के वोट अन्य लोकसभा क्षेत्रों में हैं उन्हें पोस्टल बैलेट सर्टिफिकेट प्रदान किए जाएंगे।
उन्होंने कहा कि उडऩदस्ता टीमें अपने-अपने क्षेत्र में जाकर दिव्यांग मतदाताओं की जीओ टेगिंग करेंगी। वे दिव्यांग मतदाताओं के नाम, पिता का नाम, वोटर नंबर, दिव्यांगता की श्रेणी, मोबाइल नंबर व ई-मेल आईडी जैसी सूचनाएं एकत्र करके उनकी सहमति से 18 वर्ष से अधिक आयु के एक सहायक का भी विवरण लेंगी। सभी दिव्यांग मतदाताओं तक एक डीईओ लेटर भिजवाया जाएगा जिसमें उनसे मतदान की अपील की जाएगी। प्रशासन द्वारा दिव्यांग मतदाताओं के लिए एक एप बनवाया जा रहा है जिसके माध्यम से उन्हें चुनाव कार्यक्रम तथा प्रत्याशियों के संबंध में भी जानकारी प्रदान की जाएगी ताकि वे स्व:विवेक से प्रत्याशी का चयन कर सकें। उडऩदस्ता टीम के वाहन जीपीएस प्रणाली से युक्त होंगे जिनके माध्यम से दिव्यांग मतदाताओं को मतदान केंद्र तक लाया जाएगा। मतदान केंद्र पर उनकी सहायता के लिए वॉलेंटियर्स की नियुक्ति की जाएगी। दिव्यांग मतदाता बिना लाइन में लगे सीधे वोट डालने जा सकेंगे। सभी एआरओ दिव्यांग मतदाताओं वाले मतदान केंद्रों पर सुविधाजनक रैंप बनवाना सुनिश्चित करेंगे।
उपायुक्त ने कहा कि सभी सेक्टर ऑफिसर्स का कार्यक्षेत्र भी निर्धारित कर दिया गया है जो पोलिंग पार्टियों व आरओ के बीच कड़ी का काम करेंगे। उन्होंने कहा कि सभी सेक्टर्स ऑफिसर्स अगले 3-4 दिन में अपने निर्धारित मतदान केंद्रों का दौरा कर लें और वहां चुनाव आयोग द्वारा निर्धारित सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित कर लें। यदि कहीं कोई कमी है तो संंबंधित एआरओ के माध्यम से उसे दूर करवा लें। उन्होंने कहा कि सेक्टर ऑफिसर्स मतदाताओं को जागरूक करने का भी काम करें। उपायुक्त ने सेक्टर ऑफिसर्स की सभी जिम्मेदारियों के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मतदान के दिन वे पोलिंग पार्टियों के साथ समन्वय व सहायता का काम करेंगे। यदि कहीं किसी ईवीएम मशीन में खराबी आती है तो सेक्टर ऑफिसर अपने साथ मौजूद मास्टर ट्रेनर के माध्यम से उसे ठीक करवाएंगे और यदि खराबी ठीक नहीं होती है तो मशीन को बदलवाएंगे।
अतिरिक्त उपायुक्त अमरजीत सिंह मान ने कर्मचारियों को प्रशिक्षण देते हुए बताया कि जिला में 1294 मतदान केंद्र हैं। प्रत्येक बूथ पर 4 से 5 कर्मचारियों की पोलिंग पार्टी बनाई जाएगी। उन्होंने कहा कि अभी जिला में ईवीएम की फस्र्ट लेवल चेकिंग चल रही है। यह पूरी प्रक्रिया वेब कास्टिंग के माध्यम से चुनाव आयोग में लाइव देखी जा रही है। कौन व्यक्ति किस समय अंदर आया या बाहर गया, इसका रिकॉर्ड भी चुनाव आयोग द्वारा रखा जा रहा है। उन्होंने बताया कि ईवीएम मशीनों की तीन स्तर की रेंडमाइजेशन की जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रत्येक ईवीएम मशीन की लोकेशन को निर्वाचन आयोग द्वारा ट्रेक किया जा रहा है। कोई भी पोलिंग पार्टी स्ट्रांग रूम से लेकर ईवीएम मशीन को सीधे मतदान केंद्र पर ही जाएगी।
उन्होंने चुनाव में जरूरत के अनुसार बसों व अन्य वाहनों के प्रबंध, आदर्श आचार संहिता की अनुपालना, सी विजिल एप, ऑब्जर्वर के साथ नियुक्त नोडल अधिकारियों की जिम्मेदारी, प्रशिक्षण कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार करने, जरूरी वस्तुओं के प्रबंध, प्रत्याशियों द्वारा किए जाने वाले चुनाव खर्च का आकलन करने, डिस्ट्रिक्ट सिक्योरिटी प्लान, साइबर सिक्यूरिटी, पोस्टल बैलेट, वोटिंग लिस्ट को अपडेट करने, शिकायतों के निवारण सहित विभिन्न पहलुओं पर अधिकारियों को व्यापक प्रशिक्षण प्रदान किया।
इस अवसर पर एसीयूटी स्वप्रिल पाटिल, नगर निगम आयुक्त अशोक कुमार गर्ग, सीटीएम शालिनी चेतल, हिसार एसडीएम परमजीत सिंह, हांसी एसडीएम वीरेंद्र सहरावत, रोडवेज जीएम विकास यादव, डिप्टी म्यूनिसिपल कमिश्रर डॉ. पीके हुड्डïा, डीडीपीओ अश्वीर सिंह व चुनाव नायब तहसीलदार हनुमान दास सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद थे।
सी विजिल एप पर आने वाली शिकायत का 100 मिनट में समाधान करना अनिवार्य : उपायुक्त
