आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद 24 घंटे काम करेगा टोल फ्री नंबर 1950 : उपायुक्त

March 8, 2019

उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने की राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों व प्रिंटिंग प्रेस संचालकों के साथ बैठक

हिसार, रवि पथ ब्यूरो
आदर्श आचार संहिता लागू होने के साथ ही जिला चुनाव कार्यालय में लगा टोल फ्री नंबर 1950 दिन रात में 24 घंटे कार्य करेगा। कोई भी व्यक्ति अपने सुझाव, शंका, शिकायत या चुनाव संंबधी जानकारी यहां से प्राप्त कर सकता है। इस नंबर पर फोन करना फ्री है तथा इस पर आने वाली प्रत्येक कॉल का रिकॉर्ड रखा जाएगा।
यह बात जिला निर्वाचन अधिकारी एवं उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने आज लघु सचिवालय स्थित जिला सभागार में राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों तथा प्रिंटिंग प्रेस संचालकों के साथ आयोजित बैठक के दौरान कही। उन्होंने लोकसभा चुनाव के मद्देनजर निर्वाचन आयोग के नियमों व हिदायतों के संबंध में जानकारी देते हुए इनकी समुचित अनुपालना सुनिश्चित करने को कहा।
उपायुक्त ने कहा कि जल्द ही लोकसभा चुनाव की घोषणा हो जाएगी। इसके साथ ही आदर्श आचार संहिता (एमसीसी) लागू होगी। प्रशासन द्वारा पारदर्शी, शांतिपूर्ण व निष्पक्ष चुनाव करवाने के लिए सभी तैयारियां कर ली गई हैं। सभी राजनीतिक दल व प्रिंटिंग प्रेस भी एमसीसी की अनुपालना सुनिश्चित करें। लोकसभा चुनाव लडऩे के लिए प्रत्याशी के खर्च की सीमा 70 लाख रुपये निर्धारित है। चुनाव खर्चों की जांच व निगरानी हेतु निर्वाचन आयोग द्वारा गठित जिला खर्च निगरानी कमेटी में शामिल फ्लाइंग स्क्वायड, स्टेटिक सर्विलांस टीम, वीडियो सर्विलांस टीम व अकाउंट टीम समय-समय पर उम्मीदवारों के खर्च व लेखों की जांच करेंगे।
उन्होंने बताया कि यदि किसी प्रत्याशी के खिलाफ कोई आपराधिक मुकदमा चल रहा है या वह दोषी करार दिया जा चुका है तो उसे इसकी सूचना नामांकन पत्र में निर्धारित प्रपत्र में भरनी होगी। इसके साथ ही उसे नामांकन वापसी से चुनाव के दिन के बीच कम से कम 3 बार राज्य स्तर पर प्रकाशित होने वाले तीन समाचार पत्रों में अपने मुकदमों व इनके फैसलों का प्रकाशन करवाना भी अनिवार्य है। इसके लिए फोंट साइज व विज्ञापन का प्रारूप भी निर्धारित किया गया है।

उपायुक्त ने कहा कि नारनौंद विधानसभा क्षेत्र के बूथ नंबर 112-राजथल का भवन क्षतिग्रस्त होने के कारण इसे राजकीय प्राथमिक स्कूल तथा मतदान केंद्र 219-सिंघवा खास को आंगनवाड़ी केंद्र में स्थापित किया जाना प्रस्तावित है। जिला प्रशासन द्वारा रैली स्थलों, होर्डिंग्स व अन्य प्रचार सामग्री लगाने के लिए भी स्थान निर्धारित किए गए हैं। सभी राजनीतिक दल व प्रत्याशी इन स्थानों पर ही अनुमति के साथ अपनी प्रचार सामग्री लगा सकते हैं। उन्होंने कहा कि चुनाव के दौरान उपयोग की जाने वाली वस्तुओं की दरें भी प्रशासन द्वारा निर्धारित की जाएगी तथा इसकी सूची राजनीतिक दलों व प्रत्याशियों को दी जाएगी। प्रत्याशियों द्वारा प्रयोग की जाने वाली वस्तुओं की निर्धारित दरें ही उनके खर्च में शामिल की जाएंगी।
उन्होंने बताया कि चुनाव लडऩे वाले प्रत्याशी द्वारा प्रचार के लिए प्रिंट व वीडियो विज्ञापन की पूर्व अनुमति एमसीएमसी (मीडिया सर्टिफिकेशन एंड मीडिया मॉनिटरिंग) कमेटी से लेनी अनिवार्य है। वीडियो विज्ञापन के साथ उसे उसकी स्क्रिप्ट भी एमसीएमसी कमेटी के पास जमा करवानी होगी। टेलीविजन या सोशल मीडिया पर पूर्व अनुमति के बिना किसी विज्ञापन का प्रसारण करने पर भी कार्रवाई की जाएगी।
उपायुक्त ने प्रिंटिंग प्रेस संचालकों को निर्देेश दिए कि वे किसी भी प्रकार की चुनाव प्रचार सामग्री का प्रकाशन करने से पूर्व संबंधित राजनीतिक दल अथवा प्रत्याशी से घोषणा पत्र लें। प्रचार सामग्री पर मुद्रक व प्रकाशक का नाम व पता प्रकाशित करवाना अनिवार्य है। जन प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 की धारा 127क के अनुसार कोई भी प्रिंटर या प्रिंटिंग प्रेस का मालिक किसी भी प्रकार की गैर कानूनी सामग्री प्रकाशित करके नहीं दे सकता है।

ऐसा कोई भी प्रकाशन गैर कानूनी माना जाएगा जिसमें किसी धर्म, जाति, समाज, भाषा या चरित्र का हनन हो। दोषी प्रकाशक व मुद्रक के विरुद्घ 6 माह की कैद या दो हजार रुपये जुर्माना अथवा दोनों का प्रावधान है। छपाई के संबंध में प्रत्येक प्रिंटिंग प्रेस मालिक को निर्धारित प्रपत्र 1 व 2 से संबंधी घोषणा जो कि दो व्यक्तियों द्वारा सत्यापित हो, जिलाधीश के कार्यालय में छपाई के तुरंत बाद जमा करवानी होगी।
उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार के दौरान राजनीति दल या चुनाव लडऩे वाले प्रत्याशी प्रात: 6 से रात्रि 10 बजे तक उचित ध्वनी नियंत्रण के अंतर्गत ही माइक व लाउड स्पीकर का इस्तेमाल कर सकते हैं। माइक व लाउड स्पीकर के प्रयोग की अनुमति संबंधित एसडीम द्वारा ही दी जा सकेगी। इसी प्रकार चुनाव प्रचार हेतु प्रयोग किए जाने वाले वाहनों की अनमुति केवल आरओ से ही ली जानी अनिवार्य है। प्रत्याशी जितने चाहे वाहनों की अनुमति ले सकता है, लेकिन इनका खर्च उसके खर्च रजिस्टर में शामिल होगा। चुनाव के दिन प्रत्याशी अपने संसदीय निर्वाचन क्षेत्र में खुद अपने लिए एक वाहन, अपने चुनाव एजेंट हेतु एक वाहन तथा एक-एक वाहन प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र के लिए उपयोग कर सकता है।
उपायुक्त ने सभी राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से बूथ लेवल एजेंट नियुक्त करके इनकी सूची प्रशासन को देने, अभी तक वोट बनवाने से वंचित पात्र व्यक्तियों के वोट बनवाने, आदर्श आचार संहिता की अनुपालना सुनिश्चित करने, हरियाणा डिफेसमेंट ऑफ प्रोपर्टी एक्ट की अनुपालना करने, चुनाव प्रचार के लिए पार्टी कार्यालय खोलने सहित अन्य विभिन्न मामलों में जरूरी नियमों की जानकारियां देते हुए उनसे इनकी पालना करने को कहा।

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